Manipur Violence: इम्फाल में हजारों महिलाओं ने सुरक्षाबलों द्वारा चलाए जा रहे ऑपरेशन को रोक दिया; सुरक्षाबलों ने 12 उग्रवादियों को छोड़े
सार
- मणिपुर में चल रही हिंसा में सुरक्षाबलों को उग्र भीड़ से आए दिन निपटना पड़ रहा है।
- इसी बीच महिलाओं की भीड़ ने सुरक्षाबलों द्वारा चलाए जा रहे तलाशी अभियान को रोक दिया।
- जिसके बाद भीड़ ने सुरक्षाबलों द्वारा पकड़े गए 12 उग्रवादियों को छुड़ा लिया।
- भारतीय सेना द्वारा लोगों से कानून व्यवस्था और शांति बनाए रखने की अपील की गई है।
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विस्तार
Manipuri Violence: बीते 2 महीनों से मणिपुर में हिंसा जारी है। दिन पर दिन यहां के स्थानीय लोगों द्वारा सैन्य बलों और अर्धसैनिक बलों के खिलाफ विरोध की खबरें आती रहती हैं। जिस कारण सैन्य बलों द्वारा स्थिति में सुधार के लिए चलाए जाने वाले ऑपरेशन रोकने पड़ते हैं। ऐसा ही एक मामला शनिवार के दिन भी सामने आया, जहां महिलाओं की भीड़ द्वारा सुरक्षाबलों को एक इलाके में घेर लिया गया था। जिस तरह से उन्हें घेरा गया था उसके बाद सुरक्षाबलों को अपना तलाशी अभियान को मजबूरन रोकना पड़ा। महिलाओं द्वारा किए गए इस विरोध के कारण सुरक्षाबलों को तलाशी अभियान के दौरान पकड़े गए 12 उग्रवादियों को छोड़ना पड़ा।

सुरक्षाबलों ने गिरफ्तार किए हुए 12 उग्रवादियों को छोड़ा
भारतीय सेना की स्पीयर कोर ने इस विषय पर जानकारी देते हुए बताया कि ‘सुरक्षाबलों द्वारा शनिवार को मणिपुर के इथम गांव में एक तलाशी अभियान चलाया गया था। इस ऑपरेशन के दौरान KYKL (कांगलेई यावोल कन्ना लूप) विद्रोही समूह के कुल 12 गिरफ्तार किए गए उग्रवादियों को छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा। स्पीयर कॉर्प्स ने ट्वीट कर इस ऑपरेशन की विफलता की जानकारी दी। साथ ही उन्होंने कहा कि इस इलाके में 1200 से 1500 महिलाओं की भीड़ द्वारा उन्हें घेर लिया गया और उग्रवादियों को छोड़ने के लिए मजबूर किया गया।

रक्षा मंत्रालय ने जारी किया बयान
रक्षा मंत्रालय की तरफ से जारी किए गए बयान के अनुसार, सुरक्षाबलों की एक खास इंटेलिजेंस इनपुट के आधार पर पूर्वी इंफाल जिले के इटहाम गांव में 24 जून को एक ऑपरेशन चलाया गया। इस ऑपरेशन में KYKL के 12 कैडर को हथियार, गोला-बारूद और युद्ध में उपयोग की जाने वाली अन्य कई चीजें के साथ पकड़ा गया था। इसमें स्वघोषित लेफ्टिनेंट कर्नल मोइरांगथम तांबा उर्फ उत्तम की पहचान कर ली गई है। ये वही शख्स है, जो वर्ष 2015 में डोगरा की 6वीं बटालियन पर हमले का मास्टरमाइंड था।
महिलाओं ने सुरक्षाबलों को घेरा
एक आधिकारिक बयान सामने आया है जिसमे कहा गया है कि “इलाके में सुरक्षाबलों का ऑपरेशन चल ही रहा था कि महिलाओं की अगुवाई में 1200 से 1500 लोगों की भीड़ और स्थानीय नेताओं ने इलाके को घेर लिया और सुरक्षाबलों को अपना ऑपरेशन जारी करने से रोक दिया। सुरक्षाबलों ने बार-बार अपील भी की लेकिन वे नहीं माने। मुद्दे की संवेदनशीलता और खून खराबे की आशंका देखते हुए, अफसरों ने इन 12 स्थानीय नेताओं को लोगो को सौंप देने का फैसला किया।”
सुरक्षाबल ने की शांति की अपील
- उग्रवादियों को लोगों को सौंपने के बाद सुरक्षाबलों ने उस इलाके को छोड़ दिया।
- वहीं, भारतीय सेना द्वारा मणिपुर के लोगों से कानून व्यवस्था बनाए रखने और शांति स्थापित करने में मदद करने की अपील की गई है।
- सेना द्वारा मणिपुर के लोगों से अपील करते हुए कहा गया है कि, “शांति और स्थिरता को बढ़ावा देने के लिए कानून और व्यवस्था बनाए रखने में सुरक्षा बलों की सहायता करें।“